तत्कालीन नगर आयुक्त शंभू कुमार ने विभाग को पत्र लिख कर बैठक को अमान्य बताते हुए मांगा था मार्गदर्शन।विभाग के अपर सचिव द्वारा चार माह बाद भेजे पत्र में महापौर द्वारा सत्यापित पार्षदगण के हस्ताक्षर को बताया है मान्य।

प्रभात इंडिया न्यूज डेस्क बिहार।बेतिया (सोनू भारद्वाज)

बीते 4 जुलाई 2024 को संपन्न नगर निगम बोर्ड की सामान्य बैठक के कार्यवाही की मान्यता पर तत्कालीन नगर आयुक्त शंभू कुमार द्वारा उठाए गए सवाल को नगर विकास एवम आवास विभाग ने खारिज कर दिया है। महापौर गरिमा देवी सिकारिया ने इसको लेकर विभागीय पत्र की प्रति जारी करते हुए इसकी जानकारी दी। उन्होंने बताया बिहार नगर पालिका अधिनियम 2007 की धारा (64)(1)(ए), 64(2) और 27(बी)(6)आदि के संदर्भ से संबंधित विहित प्रावधानों का विस्तार से उल्लेख किया है।इसकी जानकारी देते हुए महापौर श्रीमती सिकारिया ने श्री परमानंद पांडेय द्वारा जारी संबंधित दिशा निर्देश में बताया गया है कि मुख्य पार्षद (महापौर) द्वारा सत्यापित पार्षदगण के वांछित संख्या वाले हस्ताक्षर के आलोक में सम्पन्न नगर निगम बोर्ड अथवा किसी भी कमेटी की नियमानुकूल और मान्य होगी। इसके साथ ही महापौर ने बताया कि इस सच्चाई से तत्कालीन नगर आयुक्त श्री शंभू कुमार तब भी अवगत थे। लेकिन तब उनकी मनसा नगर निगम के विकास कार्यों में केवल अड़ंगा लगाने वाली थी। इसी तरह उनका पूरा कार्यकाल नियम प्रावधानों के विपरीत करोड़ों की विकास राशि और योजनाओं को अपने लुट खसोट मचाने में बीत गया था। जिसकी जांच पटना हाईकोर्ट के आदेश पर विभाग के अपर मुख्य सचिव द्वारा की जा रही है।

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