55 करोड़ की लागत से 16 एकड़ भूमि में बनने वाली पुलिस लाइन निर्माण का विधि विधान से हुआ भूमि पूजन।चंपारण क्षेत्र के डी आई जी,डीएम एसपी व एस डी एम की देख रेख में निर्माण एजेंसी द्वारा किया गया भूमि पूजन।
प्रभात इंडिया न्यूज/डेस्क/ बिहार।बगहा से (समीउल्लाह कासमी)
तीन सौ महिला व पुरुष पुलिस जवानों के पुलिस बैरक व अधीक्षक कार्यालय का होगा भवन निर्माण।
तीन दशक से जल संसाधन विभाग के अधिगृहित भवन में संचालित हो रहा है पुलिस बैरक व कार्यालय।
बगहा में तीन दशक बाद बगहा पुलिस जिला को अपना भवन मिलेगा . भवन निर्माण की आधारशिला चंपारण क्षेत्र के डीआईजी जयंत कांत,जिला पदाधिकारी दिनेश कुमार राय एवं एसपी बगहा सुशांत कुमार सरोज ने संयुक्त रूप से विधि विधान के साथ भूमि पूजन किया . बता दे कि लगभग 55 करोड़ की लागत से 16 एकड़ भूमि में बगहा पुलिस केंद्र का निर्माण होगा . जिसमें करीब 300 पुलिस जवानों के रहने के लिए पुलिस बैरक के साथ-साथ पुलिस अधीक्षक कार्यालय का भी निर्माण होगा .हालाकि पुलिस बैरक में महिला व पुरुष जवानों के लिए अलग-अलग बैरक होगा इसके अलावा पुलिस केंद्र में खेल के मैदान सहित पार्क का भी निर्माण होगा जो पुलिस केंद्र के आकर्षण का केंद्र होगा भूमि पूजन की आवश्यकता पर चंपारण क्षेत्र के डीआईजी जयकांत ने निर्माण एजेंसी को निर्देशित करते हुए कहा कि पुलिस बैरक व कार्यालय निर्माण में किसी भी प्रकार की अनियमित नहीं होनी चाहिए निर्माण गुणवत्ता पुणे एवं स समय हो ताकि शीघ्र ही पुलिस जवानों को बैरक व कार्यालय उपलब्ध हो सके . वही इस अवसर पर जिला पदाधिकारी ने पुलिस केंद्र का निर्माण हो जाने से कहा कि पुलिस केंद्र का निर्माण हो जाने से पुलिस अधीक्षक कार्यालय समेत पुलिस जवानों को रहने के साथ एक छत के नीचे कार्य करने में काफी सहूलियत होगी .गौरतलब हो कि मंगलवार को देव शिल्पी भगवान विश्वकर्मा पूजा के अवसर पर निर्माण एजेंसी के अभियंताओं व संवेदक द्वारा पुलिस केंद्र के लिए भूमि पूजन का कार्य किया भूमि पूजन के साथ ही पुलिस केंद्र का निर्माण की कई कार्य शुरू हो गया है जिसको डेढ़ वर्षो में पुलिस केंद्र का निर्माण पूर्ण रूप से बनकर तैयार हो जाएगा .गौरतलब हो कि 1996 में बगहा पुलिस जिला का निर्माण किया गया था . तब से पुलिस कार्यालय का संचालन जल संसाधन विभाग के भवन में हो रहा था . पुलिस लाइन के निर्माण को लेकर शारीरिक प्रकार की बधाए दूर हो गई है.मालूम है कि 2 साल पूर्व जल संसाधन विभाग की भूमि को अतिक्रमण कार्यों के कब्जे से मुक्त कर दिया गया था।