प्रभात इंडिया न्यूज़ बेतिया (सोनू भारद्वाज)। शहीद ए आज़म भगत सिंह की 118 वीं जयंती मीना बाजार स्थित रिक्शा मजदूर सभा भवन में भारत की कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) की बेतिया लोकल कमिटी द्वारा मनाई गई । इस अवसर पर बोलते हुए पार्टी के जिला सचिव मंडल सदस्य शंकर कुमार राव ने बताया कि शहीद ए आजम भगत सिंह 1919 में जलियांवाला बाग में अंग्रेजों द्वारा हजार से ज्यादा देश के नौजवानों की शहादत के बाद देश को ब्रिटिश हुकूमत से आजाद करने के लिए और देश में एक समाजवादी व्यवस्था कायम करने के लिए संघर्ष छेड़ने का निर्णय लिया ।उनके साथ राजगुरु ,सुखदेव ,भगवती चरण , चंद्रशेखर आजाद, यशपाल, शिव वर्मा ,दुर्गा भाभी जैसे क्रांतिकारियों की जमात थी ।उन्होंने हिंदुस्तान समाजवादी प्रजातांत्रिक सेना नाम की एक पार्टी बनाई। जिसके अध्यक्ष चंद्रशेखर आजाद निर्वाचित हुए ।
भगत सिंह ने दिल्ली असेंबली में बम पटकने के बाद अपनी गिरफ्तारी दे दी और न्यायालय के मंच पर देश की आजादी के उद्देश्यों को रखने में कामयाब हुए। वह लेनिन के विचारधारा से प्रभावित थे और 1917 में सोवियत क्रांति के बाद सोवियतसंघ में समाजवादी व्यवस्था कायम होने तथा परिवर्तन के दौर से प्रभावित होकर ,भारत से भी ब्रिटिश हुकूमत को भगाकर वैसी ही व्यवस्था देश में लाना चाहते थे। इसी उद्देश्य के लिए 23 मार्च 1931 को राजगुरु और सुखदेव के साथ हंसते हंसते फांसी के तख्ते को चूम लिया था।
इस अवसर पर श्रद्धांजलि देने वालों में बेतिया लोकल कमिटी के सचिव सुशील श्रीवास्तव,नीरज बरनवाल, झुना मियां आदि शामिल थे ।