प्रभात इंडिया न्यूज़/बगहा आशुतोष जयसवाल
बगहा अनुमंडलीय अस्पताल में स्थापित ऑक्सीजन प्लांट निर्माण होने के बाद भी अब तक सुचारू रूप से संचालित नहीं हुआ है जिसके चलते इलाज के लिए आए मरीजों को ऑक्सीजन सिलेंडर से उपलब्ध कराई जा रही ऑक्सीजन है।ऑक्सीजन प्लांट का निर्यागत संचालन नहीं होता।बताते चलें की अस्पताल प्रबंधन के पास बड़ा आक्सीजन सिलेंडर 45 व छोटा 125 उपलब्ध है।इस अस्पताल में प्रतिदिन सिलेंडर की खपत दस होती है।एक सिलेंडर की रिफिलिंग में करीब दो से ढाई सौ की राशि व्यय होती है।ऑक्सीजन प्लांट बनने के बाद भी यह राशि अस्पताल प्रबंधन को व्यय करने की मजबूरी है।बताते चलें की यह ऑक्सीजन प्लांट का निर्माण करोना काल में ऑक्सीजन की किल्लत को देखते हुए सरकार व स्वास्थ्य विभाग ने पहल करते हुए सभी अनुमंडलीय अस्पताल आक्सीजन प्लांट का निर्माण कराया था।इस कड़ी में 2022-23 में अनुमंडलीय अस्पताल बगहा में भी स्वयंसेवी संस्था डॉक्टर फार यू की ओर से करीब 30 लाख रुपये की लागत से कराया गया था।यह प्लांट एक मिनट में 353 लीटर ऑक्सीजन उत्पादन कर सकता है।लेकीन इसके संचालन के लिए विभाग से कोई ऑपरेटर उपलब्ध नहीं कराया जा सका।स्थानीय जीएनएम पंकज कुमार के द्वारा ही इसे ऑपरेट किया जाता है।निर्माण के बाद से ही इस प्लांट को केवल मॉक ड्रिल में प्रयोग किया जाता है।इंजीनियर आते है।एक को ठीक करते तो कोई अन्य पार्टस खराब हो जाता है।मॉक ड्रिल में भी आक्सीजन प्लांट मात्र 87 प्रतिशत ही काम कर रहा है।मानक के अनुसार कम से कम 20 प्रतिशत से अधिक होना चाहिए।अनुमंडलीय अस्पताल प्रभारी उपाधीक्षक डा. केबीएन सिंह ने बताया की अस्पताल में जो उपकरण है,उनके संचालन के लिए तकनीशियन के लिए विभाग को पत्राचार किया गया है।आक्सीजन प्लोट सही काम नहीं करता है।कई बार प्रयास किया जा चुका है।इसको लेकर वरीय अधिकारियों को अवगत करा दिया गया है।फिल्हाल अस्पताल में आक्सीजन सिलेंडर पर्याप्त संख्या में उपलब्ध है।